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फिर बदला मौसम का मिजाज रुक रुक कर हो रही बमौसमी मावठ की बरसात धरती पुत्रों के लिए फिर बनी आफत
तखतगढ 2 मार्च:(खीमाराम मेवाड़ा) पिछले वर्ष जून जुलाई में बिपरजॉय चक्रवर्ती तूफान से तबाह हुई खरीफ की फसल का अब तक 8 महीने गुजरने के बाद भी बर्बाद हुए किसानों को सरकार द्वारा कोई मुआवजा नहीं मिला। लेकिन कुदरत का करिश्मा देखो इस बार जवाई बांध छलकने से किसानों को रबी फसल सिंचाई के लिए 4000 एमसीएफटी पानी मिलने के बाद क्षेत्र में सरसों एवं गेहूं की बंपर पैदावार होने की उम्मीद लगाए बैठे किसानो पर आखिर एक बार फिर पहाड़ टूटता नजर आ रहा है। की
पिछले दो दिन से प्रदेश में सक्रिय हुए पश्चिमी विक्षोभ के कारण अब बेमौसमी मावठ धरती पुत्रों के लिए फिर आफत बनता जा रहा है।
लगातार 2 दिन से पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होते ही शनिवार अलसुबह से ही तखतगढ़ नगर पालिका क्षेत्र सहित आसपास ग्रामीण क्षेत्रों में छाए काली घटाओं के बादलों के बाद आकाशीय बिजली की तेज गर्जना के साथ रिमझिम बरसात का दौरा शुरू हो गया जो रुक-रुक कर पौने घंटे तक बेमौसमी बरसात का मावठ होने से इन दिनों जवाई बांध से कमांड क्षेत्र में गेहूं की फसल सिंचाई के लिए चौथी पाण चल रही हे। और कई
खेतों में सरसों की फसल कटाई कार्य चल रहा है। तो कई खेतों मे कटी हुई फसल नष्ट होने की संभावना बन चुकी है। जिससे अब बेमौसमी मावठ धरती पुत्रों के लिए आफत बनता दिखाई दे रहा है। शुक्रवार अल सुबह से ही बूंदाबांदी शुरू होने के बाद 10: 10 बजे तेज गर्जना के साथ रुक-रुक कर 10.50 बजे तक मूसलाधार बरसात का दौरा जारी रहने से सड़कों पर पानी बहने लगा बसंत ऋतु में सावन के फुहारे से मौसम सुहावना होने के बाद 11:00 हल्की सी धूप मिली और लोगों को राहत महसूस हुई।