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जालोर-विभिन्न मांगों को लेकर बुधवार को मांडवला मठ के संत विष्णु भारती महाराज के नेतृत्व में लोगों ने जिला कलेक्टर से मुलाकात की। उन्होंने कलेक्टर को ज्ञापन सौंप कर मांडवला के खसरा नंबर 270 में गैर मुमकीन गौचर भूमि से अतिक्रमण हटाने की मांग की। साथ ही अवैध रूप से संचालित मीट की दुकान को बंद करने और सरकार द्वारा अधिग्रहित मंदिरों को सरकारी नियंत्रण से मुक्त करने की भी मांग रखी।
ज्ञापन में बताया कि तिरूपति बालाजी मंदिर में वितरित होने वाले महाप्रसाद की पवित्रता के संबंध में आस्थावान हिंदुओं की बहुत श्रद्धा होती है। दुर्भाग्य से इस महाप्रसाद को बनाने वाले घी में चर्बी व मछली के तेल की मिलावट होने की जानकारी सामने आई है। इस पवित्र तीर्थ का संचालन आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा स्थापित बोर्ड के द्वारा होता है। जिससे राज्य सरकार को उनके द्वारा नियंत्रित सभी हिंदू मंदिर अविलंब मुक्त करके हिंदू संतों व भक्तों को एक निश्चित व्यवस्था के अन्तर्गत सौंपने की मांग की।
ज्ञापन में शामिल प्रमुख मांगों में मांडवला में गौचर भूमि पर संचालित मीट की दुकानों को तत्काल बंद करवाने का भी आग्रह किया।
इस दौरान लोगों ने आरोप लगाया कि 18 सितंबर को एक युवक ने मीट की दुकान से बदबू आने की शिकायत की तो उसके साथ दूसरे समाज के युवकों ने मारपीट की। इसकी सूचना बिशनगढ़ थाने में भी दी गई है, लेकिन अभी तक आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई है।